Saturday, January 8, 2022

CLASS-7 SUBJECT HINDI CHAPTER-18 संघर्ष के कराण मैं तुनुकमिजाज हो गया धनराज

  EVENTS CONVENT HIGH SCHOOL

08/01/2022      CLASS- 7   SESSION 2021-22
SUBJECT :HINDI 

CHAPTER-18

संघर्ष के कराण मैं तुनुकमिजाज हो गया धनराज
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बहुविकल्पी प्रश्नोत्तर
(क) संघर्ष के कारण मैं तुनुकमिज़ाजी हो गया’–पाठ किस विधा पर आधारित है?
(i) एकांकी
(ii) संस्मरण
(iii) जीवनी
(iv) साक्षात्कार

(ख) धनराज का बचपन कहाँ बीता?
(i) अमृतसर में
(ii) मुंबई में
(iii) खिड़की नामक गाँव में
(iv) दिल्ली में।

(ग) धनराज ने किस उम्र में जूनियर राष्ट्रीय हॉकी खेली?
(i) चौदह साल
(ii) पंद्रह साल
(iii) सोलह साल
(iv) सत्रह साल में।

(घ) “बैचलर ऑफ हॉकी’ कहने का अभिप्राय क्या है?
(i) हॉकी में ग्रेजुएट
(ii) वरिष्ठ खिलाड़ी
(iii) हॉकी खेल में पारंगत
(iv) हॉकी सिखानेवाला।

(ङ) धनराज कहीं आने-जाने के लिए किस वाहन का प्रयोग करते थे?
(i) बस
(ii) मोटर साइकिल
(iii) कार
(iv) लोकल ट्रेन।

(च) धनराज को जूनियर राष्ट्रीय हॉकी खेलों के लिए कब चयनित किया गया था?
(i) 1980
(ii) 1985
(iii) 1990
(iv) 1995

(छ) धनराज कितने कक्षा तक पढ़ाई की?
(i) नौवीं
(ii) दसवीं
(iii) ग्यारहवीं
(iv) बारहवीं

(ज) महाराष्ट्र सरकार ने धनराज को कैसे सम्मानित किया?
(i) कार भेंटकर
(ii) फ़्लैट भेंटकर
(iii) स्वर्ण पदक देकर
(iv) मोटर साइकिल देकर।

उत्तर
(क) (iv)
(ख) (iii)
(ग) (iii)
(घ) (iii)
(ङ) (iv)
(च) (ii)
(छ) (ii)
(ज) (ii)

अतिलघु उत्तरीय प्रश्न

(क) धनराज पिल्लै किस खेल से संबंधित थे।
उत्तर-
धनराज पिल्लै हॉकी खेल से संबंधित थे।

(ख) धनराज ने अपनी जूनियर राष्ट्रीय हॉकी कब खेली? उस समय उनका शरीर कैसा था?
उत्तर-
धनराज ने अपनी जूनियर राष्ट्रीय हॉकी की 1985 में मणिपुर में खेली। उस समय उनका शरीर बहुत दुबला-पतला था और चेहरा छोटे बच्चे जैसा था।

(ग) धनराज ने कृत्रिम घास पर सबसे पहले हॉकी कब खेली?
उत्तर-
1988 में जब वे राष्ट्रीय खेलों में भाग लेने दिल्ली आए।

(घ) धनराज की पहली कार कौन-सी थी?
उत्तर-
धनराज की पहली कार एक सेकेंड हैंड महेंद्रा अरमाडा थी।

(ङ) साक्षात्कार का क्या अर्थ है?
उत्तर-
साक्षात्कार का अर्थ है किसी से मिलकर आमने-सामने की बातचीत करना।

लघु उत्तरीय प्रश्न

(क) धनराज का बचपन कैसा था?
उत्तर-
धनराज का बचपन काफ़ी गरीबी में व्यतीत हुआ था। उनको आर्थिक संकट का सामना करना पड़ा था। उनका एवं उनके भाइयों के पालन-पोषण में उनकी माँ को काफ़ी संघर्ष करना पड़ा था। धनराज को हॉकी खेलने के लिए हॉकी स्टिक खरीदने के पैसे नहीं होते थे। वे पढ़ाई में भी फिसड्डी थे।

(ख) धनराज को किस बात की मायूसी हुई? यह कैसे खत्म हुई ?
उत्तर-
धनराज का विश्वास था कि उन्हें 1988 के ओलंपिक कैंप का बुलावा जरूर आएगा, पर 57 खिलाड़ियों की सूची में उनका नाम नहीं था। इससे उन्हें मायूसी हुई । यह मायूसी अगले साल ऑलविन एशिया कप के कैंप के चुनाव पर दूर हुई।

(ग) धनराज के व्यक्तित्व की क्या विशेषता है?
उत्तर-
उनके व्यक्तित्व की यह विशेषता है कि वे भावुक हैं और दूसरों की तकलीफ़ को नहीं देख सकते। वे अपने मित्रों और परिवारजनों का बहुत सम्मान करते हैं। वे गलती होने पर माफ़ी भी माँग लेते हैं।

(घ) धनराज किसे पहली ज़िम्मेदारी मानते थे?
उत्तर-
धनराज अपनी पहली ज़िम्मेदारी मानते थे, अपने परिवार की आर्थिक तंगी को दूर करना। वे परिवार को बेहतर जिंदगी देना चाहते थे।

दीर्घ उत्तरीय प्रश्न

(क) धनराज का हॉकी खेलने का सफ़र कैसे चला?
उत्तर-
धनराज का बचपन काफ़ी आर्थिक संघर्षों के बीच गुजरा। उनके पास बचपन में तो हॉकी खरीदने के भी पैसे न थे। जब उनके मित्र खेल चुके होते थे, तो वे उनसे हॉकी स्टिक माँगकर खेलने का अभ्यास करते थे। जब उनके बड़े भाई को भारतीय कैंप के लिए चुना गया तो उन्होंने इन्हें अपनी हॉकी स्टिक दी जो इनकी अपनी थी। उसी से अभ्यास करके पहली बार 16 वर्ष की आयु में सन् 1985 में इन्हें जूनियर राष्ट्रीय हॉकी, खेलने का अवसर मणिपुर में प्राप्त हुआ। सन् 1986 में इन्हें सीनियर टीम में शामिल कर लिया गया। इसी वर्ष ऑलविन एशिया कप के कैंप में भी इन्हें चुना गया। इसके बाद वे निरंतर सफलता की सीढ़ियाँ ही चढ़ते रहे और लोगों के प्रिय ‘हॉकी खिलाड़ी बन गए।